लोकसभा चुनाव नतीजों के बाद सीएलएसए के इंडिया फोकस पोर्टफोलियो में केवल 2 ‘मोदी स्टॉक’ बचे
वैश्विक ब्रोकरेज फर्म सीएलएसए ने लोकसभा चुनाव के नतीजों में भाजपा को उम्मीद से कम सीटें मिलने के बाद अपने इंडिया फोकस पोर्टफोलियो में संशोधन करते हुए केवल ओएनजीसी और रिलायंस इंडस्ट्रीज को रखा तथा शेष 52 ‘मोदी स्टॉक’ को बाहर कर दिया।
फर्म ने पहले 54 कंपनियों की एक सूची बनाई थी, जो वर्तमान सरकार की नीतियों से प्रत्यक्ष लाभार्थी हो सकती हैं, और उन्हें “मोदी स्टॉक” नाम दिया था, क्योंकि भाजपा के सत्ता में वापस आने की संभावनाओं के आधार पर उन्हें लाभ हुआ है।
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सीएलएसए ने एक नोट में कहा कि मोदी के शेयरों की अगुआई में भारतीय शेयर बाजारों ने राष्ट्रीय चुनावों के प्रति काफी दृढ़ विश्वास के साथ रुख अपनाया था कि भाजपा की सरकार मजबूत बनी रहेगी। साथ ही कहा कि भाजपा के साधारण बहुमत से वंचित होने का चुनावी फैसला इस विश्वास पर सवाल उठाता है और एक स्थिर सरकार तथा नीति-निर्माण शैली पर संदेह पैदा करता है।
ब्रोकरेज ने शेयरों के महंगे मूल्यांकन के बारे में आगाह किया भारत लाइवमिंट की रिपोर्ट के अनुसार, यह वैश्विक स्तर पर सबसे महंगे बाजारों में से एक है, तथा एशिया, जापान को छोड़कर अन्य तथा उभरते बाजारों की तुलना में इसका प्रीमियम ऐतिहासिक औसत से एक मानक विचलन अधिक है।
सीएलएसए ने अपने भारत केंद्रित पोर्टफोलियो से एलएंडटी को भी हटा दिया है और उसकी जगह एचसीएल टेक को शामिल कर लिया है। इंफ्रास्ट्रक्चर की यह दिग्गज कंपनी जनवरी 2021 में अपनी स्थापना के समय से ही पोर्टफोलियो में थी।
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